“मैं माफी नहीं मांगूंगा!” – कुणाल कामरा का एकनाथ शिंदे विवाद पर प्रतिक्रिया , हैबिटेट क्लब तोड़फोड़ पर कटाक्ष

मुंबई : स्टैंड-अप कॉमेडियन कुणाल कामरा और महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के बीच चल रहा विवाद गहराता जा रहा है। कामरा ने अपने एक शो में शिंदे पर कटाक्ष करते हुए उन्हें “गद्दार” कहा, जिसके बाद शिवसेना कार्यकर्ताओं ने मुंबई के हैबिटेट कॉमेडी क्लब में तोड़फोड़ की। इस घटना के बाद कामरा ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X (ट्विटर) पर एक तीखा बयान पोस्ट कर माफी मांगने से साफ इनकार कर दिया और कहा, “मैं इस भीड़ से नहीं डरता!”
क्या है पूरा मामला?
- कुणाल कामरा ने अपने शो में बॉलीवुड गाने “दिल तो पागल है” की पैरोडी बनाकर शिंदे पर व्यंग्य किया।
- उन्होंने महाराष्ट्र की राजनीति, शिवसेना विभाजन और एनसीपी संकट पर भी तीखे कमेंट किए।
- शो का वीडियो वायरल होने के बाद शिवसेना कार्यकर्ताओं ने हैबिटेट कॉमेडी क्लब को नुकसान पहुंचाया।
- बीएमसी ने क्लब का सर्वे किया और अस्थायी संरचना को हटा दिया।
कुणाल कामरा ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X (ट्विटर) पर एक तीखा बयान पोस्ट किया :
सोमवार रात X (ट्विटर) पर एक तीखा बयान पोस्ट कर एकनाथ शिंदे विवाद में अपनी जमीन मजबूत कर दी। उन्होंने न सिर्फ माफी मांगने से इनकार किया, बल्कि शिवसेना कार्यकर्ताओं द्वारा हैबिटेट कॉमेडी क्लब में की गई तोड़फोड़ को “बेवकूफी भरा कृत्य” बताते हुए उनकी जमकर आलोचना की।
अपने में पोस्ट में का मरा ने ये भी कहा की “हैबिटेट सिर्फ़ एक मंच था तथा क्लब में की गई तोड़फोड़ आपकी असहिष्णुता की निशानी” है अपने X (पूर्व में ट्विटर) हेंडल पर शेयर किए गए लंबे बयान में कामरा ने लिखा:
“मैं माफी नहीं मांगूंगा… न ही इस भीड़ से डरकर बिस्तर के नीचे छिपूंगा! कामरा ने अपने पोस्ट में ये भी लिखा की “मेरा बयान वही था जो महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री अजित पवार ने एकनाथ शिंदे के बारे में कहा था।”
” कमरा ने कहा जो लोग मुझे धमकियां दे रहे हैं, उन्हें याद रखना चाहिए – मेरे वॉयसमेल पर वही गाना बजता है जिससे आप नफरत करते हैं!”
हैबिटेट कॉमेडी क्लब में की गई तोड़फोड़ को लेके कटाक्ष:
रविवार रात शिवसेना कार्यकर्ताओं द्वारा हैबिटेट कॉमेडी क्लब को नुकसान पहुंचाए जाने पर कामरा ने तीखी प्रतिक्रिया देते हुए कहा की “यह उसी तरह की बेवकूफी है जैसे कोई बटर चिकन पसंद न आने पर टमाटर ले जा रहे ट्रक को पलट दे!” हैबिटेट सिर्फ एक मंच था, उस पर हमला करने वाले असल में अभिव्यक्ति की आजादी से डरते हैं।
BMC की कार्रवाई पर भी सवाल:
कुणाल कामरा ने बृहन्मुंबई नगर निगम (BMC) पर भी निशाना साधा, जिसने “अवैध संरचना” के नाम पर क्लब के हैबिटेट क्लब के हिस्से को ध्वस्त कर दिया। उन्होंने व्यंग्य किया, “अगली बार मैं एल्फिंस्टन ब्रिज पर शो करूँगा—वहाँ तो BMC को गिराने में देर नहीं लगती!”
एकनाथ शिंदे की प्रतिक्रिया :
महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने कॉमेडियन कुणाल कामरा के विवादित चुटकुलों पर पहली बार सख्त प्रतिक्रिया देते हुए इसे “पैसे के लिए किया गया हिट जॉब” बताया। शिंदे ने कहा कि यह “अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का दुरुपयोग है।
- शिंदे ने कहा कि राजनीतिक व्यंग्य की सीमाएं होती हैं , कुणाल कामरा पर हमला करते हुए उन्होने उनके इस व्यवहार को “अनैतिक (Unethical) और अशोभनीय (Indecent) व्यवहार” कहा
- शिंदे ने कहा इसी व्यक्ति ने पहले भी मुख्य न्यायाधीश (CJI) , प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण और इस देश के प्रमुख उद्योगपतियों के खिलाफ बोला है। वह पत्रकारों से भिड़ चुका है और यहां तक कि एयरलाइंस द्वारा उसे प्रतिबंधित भी किया जा चुका है। यह अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता नहीं है। यह किसी एजेंडे वाले व्यक्ति की ओर से बोलना है।
- शिवसेना कार्यकर्ताओं द्वारा हैबिटेट कॉमेडी क्लब में तोड़फोड़ के बारे में शिंदे ने कहा: हम हिंसा (Violence) के पक्ष में नहीं, लेकिन जनभावनाओं को भड़काने का नतीजा भुगतना पड़ता है” हालांकि उन्होंने अपनी पार्टी के कार्यकर्ताओं द्वारा की गई तोड़फोड़ से खुद को अलग कर लिया।
राजनीतिक प्रतिक्रिया :
- महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने विवाद पे प्रतिक्रिया देते हुए कहा की “कुणाल को अपनी निम्न-स्तरीय कॉमेडी के लिए माफी मांगनी चाहिए।”
- जबकि विपक्षी नेता UBT शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे ने भी इस विवाद पे प्रतिक्रिया देते हुए कहा की : “कामरा ने जो कहा, उसमें कुछ गलत नहीं है।”
- वही कांग्रेस पार्टी : कामरा के समर्थन में उतरी , अभिव्यक्ति की आजादी का हवाला दिया।
पुलिस ने कुणाल कामरा को तलब किया:
अधिकारियों के अनुसार, एमआईडीसी (MIDC) पुलिस ने शुरू में कुणाल कामरा के खिलाफ मामला दर्ज किया था, जिसे बाद आगे की जांच के लिए मामले को खार पुलिस को सौंप दिया गया। जिस के बाद खार पुलिस ने मानहानि के तहत केस दर्ज किया और कुणाल कामरा को मंगलवार सुबह 11 बजे पेश होने का नोटिस भेजा गया, हालांकि, कामरा कथित तौर पर इस समय मुंबई में नहीं हैं।
निष्कर्ष :
शिंदे के इस बयान ने महाराष्ट्र की राजनीति में नया तूफान खड़ा कर दिया है। जहां विपक्ष इसे “अभिव्यक्ति पर हमला ” बता रहा है, वहीं शिवसेना इसे “संस्कृति की रक्षा का मामला बता रही है।
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