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विराट कोहली का टेस्ट क्रिकेट से संन्यास एक युग का अंत

विराट कोहली टेस्ट विदाई

विराट कोहली टेस्ट विदाई के साथ भारतीय क्रिकेट के एक स्वर्णिम युग का अंत हुआ। उन्होंने इंस्टाग्राम पोस्ट द्वारा टेस्ट क्रिकेट को अलविदा कहने की घोषणा की। इस घोषणा के साथ ही उनके 14 साल लंबे टेस्ट करियर का समापन हुआ। उन्होंने न सिर्फ रन बनाए, बल्कि भारत को आक्रामक सोच दी।

कोहली ने लिखा, “बैगी ब्लू पहनने को 14 साल हो गए।” “यह सफर मुझे गढ़ता रहा, परखता रहा और सीख भी देता रहा।” उन्होंने कहा, “मैं इसे मुस्कुराहट और आभार के साथ अलविदा कहता हूं।” उन्होंने अपने साथियों, प्रशंसकों और क्रिकेट को धन्यवाद दिया।

कोहली के करियर की झलक: रिकॉर्ड्स और संघर्ष

  • कुल टेस्ट मैच: 123
  • कुल रन: 9230
  • औसत: 46.85
  • टेस्ट शतक: 30 | अर्धशतक: 31
  • उच्चतम स्कोर: 254* बनाम दक्षिण अफ्रीका

विराट कोहली ने 2011 में वेस्टइंडीज़ के खिलाफ टेस्ट पदार्पण किया। 2014 में उन्होंने महेंद्र सिंह धोनी के बाद कप्तानी संभाली। 68 टेस्ट में कप्तान रहते हुए उन्होंने भारत को 40 जीत दिलाई।

उनकी कप्तानी में भारत ने ऑस्ट्रेलिया में पहली टेस्ट सीरीज जीती। 2018-19 की वह सीरीज़ उनके नेतृत्व कौशल की पहचान बनी। 2020 के बाद उनका फॉर्म गिरा और औसत 30.72 रह गया। 39 टेस्ट में उन्होंने केवल तीन शतक और 2028 रन बनाए। 2023 में कुछ सुधार दिखा, लेकिन निरंतरता नहीं रही।

2024 में ऑस्ट्रेलिया में कोहली केवल 190 रन बना सके। 9 पारियों में औसत 21 से कम रहा, आलोचना भी हुई। हालांकि, उनके जुनून और फिटनेस में कभी कमी नहीं दिखी। उन्होंने हमेशा टीम को आगे रखने की सोच दिखाई।

रोहित के बाद कोहली भी बाहर, क्या अब शुभमन गिल होंगे कप्तान?

  • रोहित शर्मा ने भी हाल ही में संन्यास लिया
  • गिल को अगला कप्तान माना जा रहा
  • अश्विन, रहाणे पहले ही संन्यास ले चुके

विराट कोहली टेस्ट विदाई ऐसे समय पर हुई जब भारत बदलाव में है। रोहित शर्मा के बाद टीम एक और सीनियर खिलाड़ी को खो चुकी है। इससे टीम को नया नेतृत्व देना अनिवार्य हो गया है। शुभमन गिल को अगला टेस्ट कप्तान माना जा रहा है।

BCCI सूत्रों के अनुसार कोहली पहले ही बोर्ड को सूचित कर चुके थे। उनका यह फैसला रणनीति को नया दृष्टिकोण देगा। भारत अब इंग्लैंड दौरे और WTC चक्र की तैयारी में है। गिल को अब अनुभव और नेतृत्व दोनों संभालना होगा।

IPL 2025 में कोहली का प्रदर्शन शानदार रहा :

टेस्ट क्रिकेट से अलग होकर भी कोहली IPL में चमके। उन्होंने रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु के लिए दमदार प्रदर्शन किया। 252 मैचों में उन्होंने 8004 रन बनाए, जो सबसे अधिक है। इसमें 8 शतक और 55 अर्धशतक शामिल हैं।

2024 सीज़न में उन्होंने 15 मैचों में 741 रन बनाए। नाबाद 113* रन उनकी उस सीज़न की सर्वश्रेष्ठ पारी थी। उन्होंने साबित किया कि उम्र सिर्फ आंकड़ा है, जुनून जिंदा है। आईपीएल में वह अभी भी सबसे विश्वसनीय बल्लेबाज हैं।

कोहली की यादगार पारियां आज भी ज़िंदा हैं :

कोहली की कई पारियां क्रिकेट प्रेमियों के दिलों में अमिट हैं। 2018 में इंग्लैंड के खिलाफ 149 रन की पारी यादगार बनी। वह पारी उनकी तकनीकी क्षमता और मनोबल का उदाहरण थी। 2012 एडिलेड में 116 और 2014 जोहान्सबर्ग में 119 रन बने।

उनकी पारियों में क्लास, कंट्रोल और कंसिस्टेंसी हमेशा दिखी। हर परिस्थिति में वह खड़े रहने वाले खिलाड़ी के रूप में उभरे। उन्होंने विदेशी धरती पर भारतीय क्रिकेट की धाक जमाई। हर बड़ी सीरीज़ में उनकी उपस्थिति विपक्ष को डराती थी।

कोहली को क्यों याद रखा जाएगा?

  • भारत के सबसे सफल टेस्ट कप्तान
  • विदेश में जीत दिलाने वाले नेतृत्वकर्ता
  • आक्रामकता और फिटनेस की नई मिसाल
  • भारत को टेस्ट में शीर्ष टीम बनाया

विराट कोहली सिर्फ एक बल्लेबाज नहीं बल्कि एक सोच हैं। उन्होंने भारतीय टेस्ट क्रिकेट को नया आकार और आत्मबल दिया। उनकी कप्तानी ने विदेशी जीत की परंपरा शुरू की। उनका आक्रामक अंदाज़ युवा खिलाड़ियों के लिए प्रेरणा बना।

उन्होंने फिटनेस को एक अनिवार्य संस्कृति बना दिया। उनकी वजह से भारतीय टीम विश्व में फिट मानी जाने लगी। वह भारत के चौथे सबसे अधिक टेस्ट रन बनाने वाले बल्लेबाज हैं। सचिन, द्रविड़, गावस्कर के बाद यह सम्मान उन्हें मिला।

एक प्रेरणादायक युग का अंत :

विराट कोहली टेस्ट विदाई के साथ भारतीय क्रिकेट में शून्यता आ गई। उनकी जगह लेना आसान नहीं, क्योंकि वह सिर्फ खिलाड़ी नहीं थे। उनकी सोच, अनुशासन और समर्पण नई पीढ़ी को मार्ग दिखाएगा। उनका युग खत्म हुआ, लेकिन प्रेरणा आने वाले दशकों तक रहेगी।

शुभमन गिल और नए खिलाड़ियों को अब टीम आगे ले जानी है। कोहली की विरासत एक आदर्श के रूप में कायम रहेगी। भारत ने एक नायक को विदाई दी, लेकिन इतिहास ने उसे अमर किया। विराट कोहली क्रिकेट के सबसे प्रेरणास्पद चेहरों में रहेंगे। विराट कोहली का योगदान भारतीय क्रिकेट में अमूल्य है। उनकी बल्लेबाजी शैली, फिटनेस के प्रति समर्पण और आक्रामक नेतृत्व ने युवा खिलाड़ियों के लिए एक मानक स्थापित किया है।

कोहली के संन्यास के साथ, भारतीय क्रिकेट टीम एक नए युग में प्रवेश कर रही है, जहां युवा खिलाड़ियों को उनकी जगह भरने की चुनौती होगी। शुभमन गिल जैसे युवा बल्लेबाजों के कंधों पर अब टीम को आगे ले जाने की जिम्मेदारी होगी।

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